From the desk of Administrator

मैंने डा0 ए0 पी0 जे0 अब्दुल कलाम को सुना है उन्होंने कहा है यदि एक देश भ्रष्टाचार से मुक्त होता है और स्वस्थ एवं सुन्दर मन्सा वाला बन जाता है तब जोर देकर इस बात का अहसास होता है समाज को तीन व्यक्ति ऐसे होते है जो इस तरह का बदलाव ला सकते है । वे है माता-पिता एवं अध्यापक आज हम देख रहे है कि आधुनिक शिक्षक अध्यापको में कौशल का अभाव है। जो कि स्वच्छ समाज की विचार धारा के विपरित है। किसी भी व्यक्ति का स्तर उसके अध्यापक से उपर नहीं हो सकता है। अध्यापक को समाज की रीढ़ माना गया है। वह समाज एवं राष्ट्र का निर्माता है। अध्यापक उस मोमबती की तरह है जो स्वयं भावी दीपको रोशनमय  करता हुआ आगे बढ़ता है। आज हम शिक्षा की उज्ज्वल दौर से गुजर रहे है फिर भी कुछ लोग शिक्षण शिक्षा को भी आर्थिक व्यवसाय के तौर पर ले रहे है। आओ! आज हम इस राष्ट्र निर्माता (शिक्षक) को इस आधुनिक दौर में उसके व्यवसाय के प्रति समर्पित एवं आधुनिक तकनीकीयों लैस बनाने में सहयोग करें । इस अवधारणा को लेकर हमने इस शिक्षण संस्थान को राष्ट्र निर्माता शिक्षक के नाम समर्पित किया है। 
 
प्रशासक
श्री ओम प्रकाश गोयल